महिला सशक्तिकरण की दिशा में एक नई पहल: “मेरी पहल फास्ट हेल्प आर्टिस्ट वेलफेयर एसोसिएशन (ट्रस्ट)”

जयपुर। महिलाओं को आत्मनिर्भर बनाने और स्वरोजगार के माध्यम से आर्थिक स्वतंत्रता प्रदान करने की दिशा में “मेरी पहल फास्ट हेल्प आर्टिस्ट वेलफेयर एसोसिएशन (ट्रस्ट)” ने एक अनूठी योजना की शुरुआत की है। इस संस्था के संस्थापक विजय कुमार तिवाड़ी ने बताया कि यह पहल महिलाओं के लिए रोजगार के नए अवसर खोलने और उन्हें सशक्त बनाने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है।
महिलाओं को मिलेगा विशेष प्रशिक्षण
संस्था ने घोषणा की है कि महिलाओं को सिलाई, कढ़ाई, अचार, पापड़, मुरब्बा, पैकेजिंग और इलेक्ट्रॉनिक उपकरण निर्माण जैसे कार्यों के लिए प्रशिक्षण दिया जाएगा। प्रशिक्षण पूरा करने के बाद, इन महिलाओं को उनकी परियोजनाओं के लिए आर्थिक सहायता और कच्चे माल की आपूर्ति उपलब्ध कराई जाएगी। संस्था का उद्देश्य तैयार माल को बाजार तक पहुंचाने में भी मदद करना है।
महिला समूहों का गठन और नेतृत्व
योजना के तहत प्रत्येक महिला समूह में 10 महिलाएँ शामिल होंगी। इनमें से एक महिला को समूह का नेतृत्व सौंपा जाएगा, जो समूह की जिम्मेदारियों का प्रबंधन करेगी। प्रशिक्षित कार्यकर्ताओं की नियुक्ति कर इस योजना के प्रभावी संचालन को सुनिश्चित किया जाएगा।
सदस्यता और लोन योजना
संस्था द्वारा इच्छुक महिलाओं के लिए सदस्यता प्रक्रिया को बेहद सरल रखा गया है। आवेदन के लिए आधार कार्ड, पैन कार्ड, बैंक पासबुक और पासपोर्ट साइज फोटो की आवश्यकता होगी। महिलाओं को ₹50,000 से ₹1 लाख तक का लोन उपलब्ध कराया जाएगा। यह लोन संस्था की जिम्मेदारी पर प्रदान किया जाएगा।
कार्य क्षेत्र और मुख्यालय
“मेरी पहल फास्ट हेल्प आर्टिस्ट वेलफेयर एसोसिएशन” का मुख्यालय जयपुर, राजस्थान में स्थित है। इस योजना की शुरुआत राजस्थान सहित हरियाणा, पश्चिम बंगाल, महाराष्ट्र, मध्यप्रदेश, असम, बिहार और उत्तरप्रदेश में की गई है।
संस्था का उद्देश्य
संस्था के प्रमुख विजय कुमार तिवाड़ी ने कहा, “हमारा उद्देश्य महिलाओं को स्वावलंबी बनाना और उनके लिए एक उज्जवल भविष्य सुनिश्चित करना है। यह योजना न केवल रोजगार के अवसर प्रदान करेगी, बल्कि समाज में सकारात्मक बदलाव भी लाएगी।”
संपर्क जानकारी
संस्था प्रमुख: विजय कुमार तिवाड़ी
संपर्क नंबर: 7073741421
मुख्यालय: जयपुर, राजस्थान
महिला सशक्तिकरण की दिशा में यह पहल निश्चित रूप से समाज में सकारात्मक बदलाव लाएगी और महिलाओं को आर्थिक और सामाजिक रूप से सशक्त बनाएगी।